जीरो बजट खेती और सरकारी सोच
पुष्यमित्र/बही खाता वालों ने किसानों से जीरो बजट खेती करने कहा है। उन्हें क्या जीरो बजट का हिन्दी नहीं मिला?
पुष्यमित्र/बही खाता वालों ने किसानों से जीरो बजट खेती करने कहा है। उन्हें क्या जीरो बजट का हिन्दी नहीं मिला?
पशुपति शर्मा लोक-कलाओं का अपना रस है और अपना आनंद। लोक कलाओं ने अपना शास्त्र भले न गढ़ा हो लेकिन
अरविंद दास साल 2010 की गर्मियों के मौसम में हम पुणे स्थित फिल्म एवं टेलीविजन संस्थान (एफटीआइआइ) में फिल्म एप्रीसिएशन
अरविंद सिंह की फेसबुक वॉल से साभार/ ये टीकम सिंह जी है। हुआ ये कि कल शाम गाज़ियाबाद रहने वाली
2 करोड़ तक की आय वालों पर टैक्स में कोई बदलाव नहीं 2 करोड से 5 करोड़ की आय वालों
देश का हर व्यक्ति बदलाव महसूस कर रहा है हमने अपनी योजनाओं पर अमल किया मुद्रा लोन के जरिए लोगों
जब उमड़े ज्वार सवालों केजब शब्दों में कहना हो मुश्किलजब कहना चाहो, अंदर का सबजब लगे कौन समझेगा, ये सबजब
पुष्य मित्र अब वक्त आ गया है जब हम मिशन चमकी पार्ट-2 का आगाज करें । हम इस साल बीमार
वीरेन नंदा/ वर्तमान समय में लोकतंत्र का चौथा खंभा पूरी तरह जमींदोज नजर आ रहा है। एक वह समय था
सोमू आनंद साथियों मुजफ्फरपुर में सभी टीम ने शानदार काम किया। आपसी समन्वय से हमलोग अलग-अलग क्षेत्र में पहुंचे। लोगों को