संगम पांडेय विकास बाहरी के नाटक ‘खिड़की’ में कथानक के भीतर घुसकर उसकी पर्तें बनाने और खोलने की एक युक्ति
Tag: रंगमंच
बात निकली तो है… कितनी दूर तलक पहुंची?
नीतू सिंह कुछ बातें ऐसी होती हैं, तो दिल की गहराइयों से छूकर निकलती हैं और बड़ी दूर तक अपनी
रंगमंच के ‘नायक’ को संगीत नाटक अकादमी सम्मान
पशुपति शर्मा राजकमल नायक। रंगमंच का ऐसा साधक, जिसने मंच पर तो एक बड़ी दुनिया रची लेकिन सुर्खियों के ताम-झाम
थियेटर म्यूज़िक- अंजना पुरी की साधना और प्रयोग के सुर
संगीत नाटक अकादमी के अवॉर्ड्स की घोषणा हुई। अलग-अलग कैटगरी में कई नाम सामने आए। इनमें एक नाम अंजना पुरी
रंगमंच पर साकार राजकमल चौधरी की ‘मल्लाह टोली’
संगम पांडेय नीलेश दीपक की प्रस्तुति ‘मल्लाह टोली’ एक बस्ती का वृत्तचित्र है। ‘कैमरा’ यहाँ ठहर-ठहरकर कई घरों के भीतर
रंगमंच की दुनिया में ग्वालियर शहर की धमक
संगम पांडेय ग्वालियर के नाट्य मंदिर प्रेक्षागृह में जाने से लगता है मानो आप वक्त के किसी लंबे वक्फे का
आज दिल्ली में लगेगी तमाशा ए नौटंकी की हैट्रिक
भारतेंदु नाट्य उत्सव में आज दिल्ली में तमाशा-ए-नौटंकी की तीसरी बार प्रस्तुति हो रही है। इससे पहले ये नाटक भारत
मूक बधिर अभिनेता और मंच का नैसर्गिक आकर्षण
संगम पांडेय अपनी निःशब्द प्रस्तुति ‘लव योर नेचर’ में निर्देशक युमनाम सदानंद सिंह ने मंच पर एक छोटा-मोटा जंगल ही
बाज़ार के क्रूर दौर में नई उम्मीद है तमाशा-ए-नौटंकी
सुमित सारांश “तमाशा-ए-नौटंकी” कला की एक विधा को बचाने की मौलिक कोशिश है। 19वें भारत रंग महोत्सव में “तमाशा-ए-नौटंकी” का
तमाशा-ए-नौटंकी फुल इंटरटेन्मेंट की फुल गारंटी
पशुपति शर्मा भारत रंग महोत्सव धीरे-धीरे परवान चढ़ने लगा है। पहले हफ़्ते में कुछ प्रस्तुतियों ने दर्शकों का दिल जीता